चौपारण में मनरेगा घोटाला उजागर! जेसीबी से हुआ डोभा निर्माण, नियमों की उड़ाई गई धज्जियां
चौपारण,हजारीबाग:-चौपारण प्रखंड अंतर्गत पाण्डेयबारा पंचायत के पवई गांव में मनरेगा योजना के तहत घोटाले का एक गंभीर मामला सामने आया है। ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि डोभा निर्माण कार्य में मनरेगा के दिशा-निर्देशों की खुलेआम अनदेखी करते हुए मजदूरों की जगह जेसीबी मशीन का उपयोग किया गया।खबर सामने आने के बाद प्रशासन में हड़कंप मच गया। घोटाले की पोल खुलने से पहले ही संबंधित डोभा को रातोंरात मिट्टी से भर दिया गया, ताकि साक्ष्य मिटाए जा सकें। ग्रामीणों ने इस पर कड़ी नाराजगी जताई है और पूरे प्रखंड में ऐसे सभी डोभा निर्माण कार्यों की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है।स्थानीय लोगों का कहना है कि यह केवल एक डोभा की बात नहीं है।
प्रखंड क्षेत्र में दर्जनों ऐसे मामलों की आशंका है, जहां कागज़ों पर मजदूरों की उपस्थिति दर्ज कर पैसे की निकासी की गई है, जबकि जमीन पर काम जेसीबी से करवाया गया। इससे यह सवाल उठने लगे हैं कि कहीं न कहीं इस घोटाले में अधिकारियों की मिलीभगत भी शामिल है।ग्रामीणों ने मांग की है कि डोभा निर्माण कार्यों की स्थल निरीक्षण टीम गठित कर सभी स्थानों की जांच की जाए और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई हो। साथ ही यह भी देखा जाए कि जिन मजदूरों के नाम पर भुगतान हुआ है, क्या उन्हें वास्तव में मजदूरी मिली या नहीं।
यदि यह मामला सही साबित होता है, तो यह मनरेगा की आत्मा पर चोट होगी — क्योंकि यह योजना गरीबों को रोजगार देने के उद्देश्य से चलाई जाती है, न कि मशीनों को काम देकर भ्रष्टाचार करने के लिए।
Author: Ashish Yadav
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